अंडा बेचने वाले गरीब दुकानदारों को टारगेट कर रही है पुलिस
अम्बेडकरनगर। पुलिस की हिटलर शाही के कारण आत्मनिर्भर भारत का नारा दम तोड रहा है। पुलिस अब ठेले वाले अंडे की दुकान वालों को टारगेट कर रही है। पुलिस को आशंका है कि इन्ही के वजह से अपराध बढ़ रहा है। अब साहब को कौन बताए प्रतिदिन की हुई कमाई से घर चलाने वाला व्यक्ति अपराध को कैसे बढ़ा सकता है। इब्राहिमपुर थाना क्षेत्र की एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। वीडियो में थाने के हवलतें में तीन युवकों को बंद किया गया है जिसमें से एक युवक जिसका नाम शिवकुमार पुत्र राम प्यारे है और इसकी अंडे की दुकान थाना क्षेत्र में ही बलरामपुर दसौवां शराब के ठेके के निकट है। अधिक जानकारी में पता चला कि दरोगा प्रमोद खरवार ने दुकानदार को इस लिए बंद किया है क्योंकि इसने अपने हक की बात दरोगा से कर दी। उधर दरोगा का कहना है कि दुकानदार अपने दुकान में बैठाकर शराब पीने और अंडा खाने की अनुमति दे रखी है। साहब यह कैसी ना इंसाफी है और यह किस कानून में लिखा है कि किसी दुकान पर दुकानदार से अनुमति लेकर शराब नहीं पीया जा सकता है। ज्ञात हो कि अभी तक किसी भी प्रकार का विवाद संबंधित दुकान को लेकर सामने नहीं आया है। लेकिन पुलिस गरीबों को टारगेट कर रही है और परेशान कर रही है। बिना किसी गुनाह के दरोगा ने दुकानदार को हवालात में बंदकर प्रताड़ित किया और शांति भंग में चालान कर दिया। जिससे दुकानदार के परिवार को एक दिन भूखा सोने पर मजबूर होना पड़ा। चर्चा है कि निजी लाभ न मिलने पर दरोगा प्रमोद खरवार ने दुकानदार पर कार्यवाही किया है।
दुकान के बाहर खड़े दरोगा की भी वायरल है वीडियो
संबंधित दुकान के बाहर कुछ लोगों से दरोगा प्रमोद खरवार वार्ता कर रहा है जिसकी वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है। जिसमें यह स्पष्ट है कि किसी भी प्रकार का विवाद दुकानदार से संबंधित नही हुआ है लेकिन पुलिसिया धौंस दिखाते हुए उसे हिरासत में ले लिया गया। पुलिस के इन्ही दूषित मानसिकता वाले कार्यों से जनता के बीच से इनकी विश्वसनीयता समाप्त हो रही है।
यही दरोगा हुआ था मालीपुर थाने से निलंबित
मालीपुर थाने पर एक गैंग रेप का मामला दर्ज था कार्यवाही में लापरवाही के कारण युवती ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर लिया था। जिसमें दरोगा प्रमोद खरवार पर आरोप था कि इन्होंने युवती पर समझौता करने का दबाव बनाया था जिसके बाद युवती ने आत्महत्या का निर्णय लिया था। उस समय इन्हे निलंबित किया गया था लेकिन कुछ दिन बाद बहाल करते हुए इब्राहिमपुर थाने पर पोस्ट किया गया। अब यहां भी इनकी तानाशाही सामने आ रही है।